Quantcast
Channel: MUSKAN
Viewing all articles
Browse latest Browse all 199

राज्य और केन्द्र में सरकार होने के बाद बीजेपी की प्रतिष्ठा लगी है दांव पर

$
0
0

जैजैपुर में बीजेपी का गणित बिगाड़ न दे बागी !

राजेश सिंह क्षत्री
जांजगीर-चांपा/छत्तीसगढ़ एक्सप्रेस
Sonsay Dewangan
केन्द्र एवं राज्य में भारतीय जनता पार्टी सत्तारूढ़ है यही वजह है कि नगर पंचायत जैजैपुर में हो रहे उपचुनाव में सर्वाधिक उसी की प्रतिष्ठा दांव पर लगी हुई है। विधायक रौशन अग्रवाल और गिरधर गुप्ता को चुनावी व्यूह रचना के लिए मैदान में उतारकर पार्टी ने अपनी गंभीरता का परिचय तो करा दिया था किंतु अब तक भाजपा के रणनीतिकारों की रणनीति यहां रंग लाते नही दिख रही है। बीजेपी के बागी चुनावी मैदान में ताल ठोंकते हुए पार्टी के लिए चिंता का सबब बने हुए है तो वहीं जैजैपुर में निर्णायक भूमिका अदा करने वाले चन्द्रा और साहू समाज के मतदाता पार्टी से छिटकते नजर आ रहे हैं।
किसी भी उपचुनाव में सत्ताधारी दल की प्रतिष्ठा सर्वाधिक दांव पर लगी रहती है वहीं जब केन्द्र और राज्य में एक ही पार्टी की सरकार हो तब तो ऐसी स्थिति में छोटे से चुनाव में मिली हार को भी राजनीतिक विश£ेषक सहित जनता उस पार्टी के गिरते जनाधार के रूप में देखती है यही वजह है कि नगर निगम, नगर पालिका और नगर पंचायत के उपचुनाव को भी भारतीय जनता पार्टी अपनी प्रतिष्ठा का प्रश्र बना लेती है। नगर पालिका सारंगढ़ का चुनाव इसका उदाहरण हैं जहां पर कब्जा जमाने के लिए भाजपा ने हर जतन किए ऐसी स्थिति में नगर पंचायत जैजैपुर में चल रहा उपचुनाव भारतीय जनता पार्टी के लिए सर्वाधिक प्रतिष्ठा का विषय है यही वजह है कि पार्टी ने पड़ोसी जिले से लाकर यहां अपने रणनीतिकार बिठा दिए हैं। नामांकन के समय ही पार्टी ने जैजैपुर क्षेत्र के निर्मल सिन्हा, कैलाश साहू के साथ-साथ सक्ती विधायक खिलावन साहू,
Hira Sahu
संसदीय सचिव एवं पामगढ़ विधायक अंबेश जांगड़े सहित पूर्व विधानसभा उपाध्यक्ष नारायण चंदेल को चुनावी मोर्चे पर उतारकर अपनी ताकत का अहसास कराने की कोशिश की थी वहीं जैसे-जैसे मतदान की तिथि 18 जून नजदीक आते जाएगी पार्टी के भीतर और बाहर सरगर्मी तेज होते जाएगी।

विपक्ष के पास खोने को कुछ भी नहीं
विपक्षी दल कांग्रेस केन्द्र और राज्य में सत्ता से बाहर तो है ही, विधानसभा, लोकसभा और जनपद में भी जैजैपुर क्षेत्र में उसका प्रतिनिधित्व नहीं है वहीं कांग्रेस से अलग होकर छत्तीसगढ़ जनता कांग्रेस जोगी का गठन करने वाले अजीत जोगी के लिए भी अभी खोने के लिए कुछ भी नहीं है ऐसी स्थिति में जैजैपुर की हार का उनपर जरा सा भी असर नहीं होने वाला है वहीं जैजैपुर की जीत उनकेे लिए बोनस का काम करेगी वहीं विधायक होने के बाद भी बसपा ने नगर पंचायत में अपने प्रत्याशी नहीं उतारकर पहले से ही अपनी दूरी बना ली है।

भारी पड़ सकती है साहू-चन्द्रा समाज के मतदाताओं की दूरी
कभी भाजपा के पाले में माने जाने वाले चन्द्रा समाज के मतदाता आठ साल पूर्व बलराम चन्द्रा के भारतीय जनता पार्टी से अलग होने के बाद से ही कांग्रेस और बहुजन समाज पार्टी की ओर अपना रूख कर चुके हैं तो वहीं इससे पहले के चुनावों में अध्यक्ष प्रत्याशी साहू समाज का होने की वजह से पार्टी से जुड़े रहने वाले साहू
Harnarayan Yadav
समाज के मतदाता इस बार प्रत्याशी खड़े नहीं किए जाने से नाराज होकर हीरा साहू को चुनावी मैदान में उतार दिए हैं वही जिला मुख्यालय में पार्टी नेताओं द्वारा की गई कथित सामाजिक टिप्पणी से भी नाराज बताए जा रहे हैं।

बहुत कठिन है जैजैपुर की डगर
सारंगढ़ के रण को जीतने के लिए पार्टी को अपने मुख्यमंत्री को चुनावी मैदान में उतारना पड़ गया था कमोवेश वही स्थिति भाजपा की नगर पंचायत जैजैपुर में भी बनते दिख रही है। भाजपा की हार अथवा जीत हीरा साहू के गिलास और हरनारायण यादव के बस पर पडऩे वाले वोटों पर निर्भर होते नजर आ रही है। बस और गिलास को यदि ज्यादा वोट मिले तो यह भाजपा प्रत्याशी सोनसाय देंवागन के लिए घातक सिद्ध हो सकता है।

Viewing all articles
Browse latest Browse all 199